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Wednesday, April 17, 2019
The Major Religions
https://www.youtube.com/watch?v=2G4pflZunus
https://www.youtube.com/watch?v=27OtioEc0hM
https://www.youtube.com/watch?v=PC0FW407FVs
https://www.youtube.com/watch?v=tji6TomwFlI
https://www.youtube.com/watch?v=2JkLNx0WtYE
https://www.youtube.com/watch?v=oNuLaeUP7mg
https://www.youtube.com/watch?v=DfeMBja6dMA
https://www.youtube.com/watch?v=aOSeHif9eWw
https://www.youtube.com/watch?v=v_h0llgYdUg
https://www.youtube.com/watch?v=qsH1U7zSp7k
https://www.youtube.com/watch?v=7RS3679o22w
https://www.youtube.com/watch?v=z9GXI_9DXF0
https://www.youtube.com/watch?v=FSeliPlxwYs
Taoism: https://www.youtube.com/watch?v=DfeMBja6dMA
Buddhism: https://www.youtube.com/watch?v=2JkLNx0WtYE
Islam: https://www.youtube.com/watch?v=v_h0llgYdUg
Judaism: https://www.youtube.com/watch?v=aOSeHif9eWw
Christianity: https://www.youtube.com/watch?v=oNuLaeUP7mg
The Jesus of History versus the Christ of Faith
https://www.youtube.com/watch?v=INIG636SnU4
Monday, October 09, 2017
Tuesday, March 08, 2016
Mecca To Jerusalem
Build a road from Mecca to Jerusalem, for we are one people!
— Paramendra Bhagat (@paramendra) March 8, 2016
Monday, December 21, 2015
The Caste System Is The Sanatani Colonizing The Hindu Religion
Yadavs Have No Caste
राम के बाद कृष्ण। द्वापर युग त्रेता युग। तो कृष्ण का कास्ट क्या है? वो उँच जात के कि नीच जात के? कृष्ण का तो कोइ कास्ट नहीं। क्या वजह है? मुग़ल ने आ के कोलोनाइज़ किया वो तो हिन्दु देखते हैं, अँग्रेज का भी देख लेते हैं। लेकिन सनातनी का कोलोनाइजेशन आँख के ठीक सामने है लेकिन दिखता नहीं।
सनातनी यहुदी के तरह हुवे। ओल्ड टेस्टामेंट बोल दो। जीजस कोई गोरा नहीं था। पिक्चर में दिखा देते हैं जीजस को गोरा और बुद्ध को चिनिया। जब कि जीजस का चमरा था ब्राउन। अरब था। जैसा कि आजकल टेररिस्ट कह देते हैं। बुद्ध तो विशुद्ध मधेसी। १००% ---- जीजस के समुदाय के लोगों का जेनेटिक पुल और सनातनी का जेनेटिक पुल बहुत मिलता होगा। जो वैज्ञानिक लोग हैं ओ अपना शोध करें। हम तो layman हैं। मैं माइग्रेशन पैटर्न के आधार पर बोल रहा हुँ।
हाल ही में अमेरिका में एक मास्टर को नौकरी से निकाल दिया। क्यों कि उसने कहे दिया कि मुसलमान और ईसाई का भगवान एक ही है। मेरे को तो बहुत ताज्जुब लगा। कल कोई कहे एवरेस्ट की ऊंचाई है ८८४८ मीटर तो उसे भी निकाल दो।
दुनिया के सभी धर्म एक ही जगह से शुरू हुवे हैं। सनातनी भी मिडिल ईस्ट से ही आए हैं। सिर्फ यहुदी, ईसाई और मुसलमान का ही नहीं सनातनी, हिन्दु और बुद्धिस्ट का भी भगवान एक ही है। और ये जेनेटिक पुल का बात नहीं है। अरे मुरख जरा सोंच, भगवान का जो कांसेप्ट है वो एक के अलावे दो कैसे हो सकता है? भगवान एक ही हैं। Either that, or we are not talking about God, we are talking about something else. टॉपिक चेंज कर दिया गया। एक होना भगवान का प्रॉपर्टी है। जैसे पानी का प्रॉपर्टी है तरल होना। तो भगवान का प्रॉपर्टी है एक होना। एक के अलावे दो हो नहीं सकते। वो तो हम हैं अंधे जो एक ही हाथी को छु रहे हैं और अपने अपने स्टाइल से वर्णन कर रहे हैं।
अंधा कर देता है धर्म। श्री लंका और बर्मा में बुद्धिस्ट का हिंसा देख के दलाई लामा को कहना पड़ा उनकी बुद्धिस्ट धर्म से कोई लेनादेना नहीं। उनका सम्बन्ध है उनकी आशक्ति है बुद्ध के ज्ञान से।
बिभिन्न धर्म वाले टेंशन करते रहते हैं। तो संगठित धर्म राजनीति का रूप धारण कर लेता है। इसी लिए धर्म निरपेक्षता बहुत ही जरुरी चीज है। कि सभी धर्म के लिए जगह है टेंट में और राज्य का अपना कोई धर्म नहीं। राज्य तो एक भौतिक चीज हुई। पुलिस का लाठी डंडा, सुरक्षा, प्रति व्यक्ति आय, स्कुल अस्पताल, रोड पुल।
जीजस का जन्म हुवा यहुदी के रूप में। और जीजस ने ना बुद्ध ने खुद कोई धर्म शुरू किया। वो तो ज्ञान बांड रहे थे। नॉलेज। धर्म तो हम आप ने बाद में बना दिया। बुद्ध ने अपने आप को सिर्फ एक गुरु माना। कि जितना ज्ञान मेरे पास है उतना तुम्हारे पास भी हो सकता है। प्रयास करो।
उस समय के यहुदी ने जीसस को तड़पा तड़पा के मारा। उन्हें लगा ये हमारे शक्ति को चैलेंज कर रहा है। राम कृष्ण के हाथ पैर होते हैं। इस बात का सनातनी को बहुत बुरा लगता है। कि भगवान का भी कोई हाथ पैर होता है क्या!
दलितों में देखिएगा राम के प्रति बहुत आशक्ति। मेरे को ये ज्ञान नहीं हैं लेकिन मेरा अनुमान है जिस तरह यादव और कृष्ण उसी तरह दलित और राम। शायद। तो रामभक्त को तोड़मरोड़ करने में सनातनी को ज्यादा टाइम मिल गया। एक युग और बित जाने दो तो यादव भी हो जाएंगे दलित।
तो सनातनी कहता है तुम मंदिर में मत जाओ। मेरा आदेश है। किसी को धर्म से वर्जित कोई इंसान कैसे कर सकता है? This tension is not about God, this tension is about religion.
राम मंदिर बाद में बनाओ। पहले दलित को बराबरी हो। सबसे ज्यादा दलित राम के इलाके में क्यों? Coincidence? हरिजन शायद उपयुक्त नाम है। दलित का मतलब हुवा oppressed --- तो जैसे भारत को कहा जाता था colonized --- लेकिन देश का नाम तो Colonized नहीं हो सकता। Political status था colonized -- देशका नाम नहीं था। तो दलित समुदाय का नाम नहीं हो सकता। वो अभी का political status है। नाम शायद हरिजन है समुदाय का।
सनातनी ने बड़े बड़े पाप किए हैं। बुद्ध के भुमि से बुद्ध धर्म को बिलकुल सखाप कर दिया। तर्क वितर्क या पुजा पाठ से नहीं। जेनोसाइड के रास्ते। रूआण्डा। यहुदी ने एक जीजस को मारा। सनातनी ने कितने बुद्ध को मारा कोई गिनती नहीं।
एक आधुनिक राज्य में उस बुद्ध के शरीर की सुरक्षा की जिम्मेवारी राज्य की होती है।
कृष्ण का वध किया सनातनी ने। कहानी में लिख देते हैं श्राप दे दिया। भष्म कर दिया ये कर दिया वो कर दिया। मर्डर किया होगा। जिस तरह जीजस का मर्डर हुवा। History is written by the victors वाली बात।
जब हिन्दु धर्म हिन्दु धर्म रहता है तो वो बिना कास्ट के होता है, जैसे कि यादवों में है। लेकिन जब सनातनी हिन्दु धर्म को तोड़मरोड़ के रख देते हैं तो उसी को कास्ट सिस्टम कहते हैं। वो सनातनी का आक्रमण है। हिन्दु को पता भी नहीं चलता।
"The greatest trick the devil ever pulled was to convince the world he didn't exist."
यहुदी कहता है, हाँ जीजस पैदा हुवा था लेकिन आदमी था। साधारण इंसान। हमारे ही गाओं देहात में पैदा हुवा था। हम मिले थे उससे। ईसाई कहते हैं जीजस भगवान का बेटा था। उतने से difference of opinion में दो धर्म हैं। दो अलग अलग धर्म। दलित कहता है हमें राम भगवान का पुजा करना है तो सनातनी सोंचता है इसे डायरेक्ट रोकुंगा तो लफड़ा हो सकता है तो वो घुमा के कहता है, तुम तो दलित हो, तुम नीच हो, तुम मंदिर नहीं जा सकते।
तो क्या है कि हिन्दु धर्म को लिबरेट करना होगा। कास्ट सिस्टम को खत्म करना होगा।
धर्म निरपेक्षता इस लिए बहुत जरुरी है। जीसस इन्सान था या भगवान का बेटा ---- वो आप लोग छलफल करते रहो, और वैसे भी वो राजकाज से सम्बंधित चीज नहीं है। तो सनातनी रहो। ब्राह्मण रहो। अपना सांस्कृतिक पहचान बना के रखो। जो पढ़ना है पढ़ो। यानि कि यादव के तरह ब्राह्मण का एक standalone identity हो सकता है, सांस्कृतिक। लेकिन किसी को मंदिर जाने से वर्जित नहीं कर सकते। किसी के रामभक्ति के आड़े नहीं आ सकते। किसी दूसरे को नीचा नहीं देख सकते। प्रत्येक धर्म का प्रत्येक ग्रन्थ सारे मानव जाति का है। कोई भी कुछ भी पढ़ सकता है। दलित वेद पुराण बाइबल कुरान कुछ भी पढ़ सकता है, उसकी इच्छा। सीसा पिघलाओ और गिलास बनाओ।
हिन्दु धर्म अभी एक कोलोनाइज्ड धर्म है। कास्ट सिस्टम ख़त्म करो तो मिल गयी आजादी। १९४७: अ लव स्टोरी।
सनातनी के विरुद्ध सब के सब एक हो जाओ: यादव, हरिजन, मुसलमान, बुद्धिस्ट। बदला नहीं सधाना है, बराबरी लेना भी है और देना भी। जान और धन का सुरक्षा वो तो धर्म निरपेक्ष राज्य का काम है, वो धार्मिक टॉपिक ही नहीं। वो तो भौतिक चीज है।
राम के बाद कृष्ण। द्वापर युग त्रेता युग। तो कृष्ण का कास्ट क्या है? वो उँच जात के कि नीच जात के? कृष्ण का तो कोइ कास्ट नहीं। क्या वजह है? मुग़ल ने आ के कोलोनाइज़ किया वो तो हिन्दु देखते हैं, अँग्रेज का भी देख लेते हैं। लेकिन सनातनी का कोलोनाइजेशन आँख के ठीक सामने है लेकिन दिखता नहीं।
सनातनी यहुदी के तरह हुवे। ओल्ड टेस्टामेंट बोल दो। जीजस कोई गोरा नहीं था। पिक्चर में दिखा देते हैं जीजस को गोरा और बुद्ध को चिनिया। जब कि जीजस का चमरा था ब्राउन। अरब था। जैसा कि आजकल टेररिस्ट कह देते हैं। बुद्ध तो विशुद्ध मधेसी। १००% ---- जीजस के समुदाय के लोगों का जेनेटिक पुल और सनातनी का जेनेटिक पुल बहुत मिलता होगा। जो वैज्ञानिक लोग हैं ओ अपना शोध करें। हम तो layman हैं। मैं माइग्रेशन पैटर्न के आधार पर बोल रहा हुँ।
हाल ही में अमेरिका में एक मास्टर को नौकरी से निकाल दिया। क्यों कि उसने कहे दिया कि मुसलमान और ईसाई का भगवान एक ही है। मेरे को तो बहुत ताज्जुब लगा। कल कोई कहे एवरेस्ट की ऊंचाई है ८८४८ मीटर तो उसे भी निकाल दो।
दुनिया के सभी धर्म एक ही जगह से शुरू हुवे हैं। सनातनी भी मिडिल ईस्ट से ही आए हैं। सिर्फ यहुदी, ईसाई और मुसलमान का ही नहीं सनातनी, हिन्दु और बुद्धिस्ट का भी भगवान एक ही है। और ये जेनेटिक पुल का बात नहीं है। अरे मुरख जरा सोंच, भगवान का जो कांसेप्ट है वो एक के अलावे दो कैसे हो सकता है? भगवान एक ही हैं। Either that, or we are not talking about God, we are talking about something else. टॉपिक चेंज कर दिया गया। एक होना भगवान का प्रॉपर्टी है। जैसे पानी का प्रॉपर्टी है तरल होना। तो भगवान का प्रॉपर्टी है एक होना। एक के अलावे दो हो नहीं सकते। वो तो हम हैं अंधे जो एक ही हाथी को छु रहे हैं और अपने अपने स्टाइल से वर्णन कर रहे हैं।
अंधा कर देता है धर्म। श्री लंका और बर्मा में बुद्धिस्ट का हिंसा देख के दलाई लामा को कहना पड़ा उनकी बुद्धिस्ट धर्म से कोई लेनादेना नहीं। उनका सम्बन्ध है उनकी आशक्ति है बुद्ध के ज्ञान से।
बिभिन्न धर्म वाले टेंशन करते रहते हैं। तो संगठित धर्म राजनीति का रूप धारण कर लेता है। इसी लिए धर्म निरपेक्षता बहुत ही जरुरी चीज है। कि सभी धर्म के लिए जगह है टेंट में और राज्य का अपना कोई धर्म नहीं। राज्य तो एक भौतिक चीज हुई। पुलिस का लाठी डंडा, सुरक्षा, प्रति व्यक्ति आय, स्कुल अस्पताल, रोड पुल।
जीजस का जन्म हुवा यहुदी के रूप में। और जीजस ने ना बुद्ध ने खुद कोई धर्म शुरू किया। वो तो ज्ञान बांड रहे थे। नॉलेज। धर्म तो हम आप ने बाद में बना दिया। बुद्ध ने अपने आप को सिर्फ एक गुरु माना। कि जितना ज्ञान मेरे पास है उतना तुम्हारे पास भी हो सकता है। प्रयास करो।
उस समय के यहुदी ने जीसस को तड़पा तड़पा के मारा। उन्हें लगा ये हमारे शक्ति को चैलेंज कर रहा है। राम कृष्ण के हाथ पैर होते हैं। इस बात का सनातनी को बहुत बुरा लगता है। कि भगवान का भी कोई हाथ पैर होता है क्या!
दलितों में देखिएगा राम के प्रति बहुत आशक्ति। मेरे को ये ज्ञान नहीं हैं लेकिन मेरा अनुमान है जिस तरह यादव और कृष्ण उसी तरह दलित और राम। शायद। तो रामभक्त को तोड़मरोड़ करने में सनातनी को ज्यादा टाइम मिल गया। एक युग और बित जाने दो तो यादव भी हो जाएंगे दलित।
तो सनातनी कहता है तुम मंदिर में मत जाओ। मेरा आदेश है। किसी को धर्म से वर्जित कोई इंसान कैसे कर सकता है? This tension is not about God, this tension is about religion.
राम मंदिर बाद में बनाओ। पहले दलित को बराबरी हो। सबसे ज्यादा दलित राम के इलाके में क्यों? Coincidence? हरिजन शायद उपयुक्त नाम है। दलित का मतलब हुवा oppressed --- तो जैसे भारत को कहा जाता था colonized --- लेकिन देश का नाम तो Colonized नहीं हो सकता। Political status था colonized -- देशका नाम नहीं था। तो दलित समुदाय का नाम नहीं हो सकता। वो अभी का political status है। नाम शायद हरिजन है समुदाय का।
सनातनी ने बड़े बड़े पाप किए हैं। बुद्ध के भुमि से बुद्ध धर्म को बिलकुल सखाप कर दिया। तर्क वितर्क या पुजा पाठ से नहीं। जेनोसाइड के रास्ते। रूआण्डा। यहुदी ने एक जीजस को मारा। सनातनी ने कितने बुद्ध को मारा कोई गिनती नहीं।
एक आधुनिक राज्य में उस बुद्ध के शरीर की सुरक्षा की जिम्मेवारी राज्य की होती है।
कृष्ण का वध किया सनातनी ने। कहानी में लिख देते हैं श्राप दे दिया। भष्म कर दिया ये कर दिया वो कर दिया। मर्डर किया होगा। जिस तरह जीजस का मर्डर हुवा। History is written by the victors वाली बात।
जब हिन्दु धर्म हिन्दु धर्म रहता है तो वो बिना कास्ट के होता है, जैसे कि यादवों में है। लेकिन जब सनातनी हिन्दु धर्म को तोड़मरोड़ के रख देते हैं तो उसी को कास्ट सिस्टम कहते हैं। वो सनातनी का आक्रमण है। हिन्दु को पता भी नहीं चलता।
"The greatest trick the devil ever pulled was to convince the world he didn't exist."
यहुदी कहता है, हाँ जीजस पैदा हुवा था लेकिन आदमी था। साधारण इंसान। हमारे ही गाओं देहात में पैदा हुवा था। हम मिले थे उससे। ईसाई कहते हैं जीजस भगवान का बेटा था। उतने से difference of opinion में दो धर्म हैं। दो अलग अलग धर्म। दलित कहता है हमें राम भगवान का पुजा करना है तो सनातनी सोंचता है इसे डायरेक्ट रोकुंगा तो लफड़ा हो सकता है तो वो घुमा के कहता है, तुम तो दलित हो, तुम नीच हो, तुम मंदिर नहीं जा सकते।
तो क्या है कि हिन्दु धर्म को लिबरेट करना होगा। कास्ट सिस्टम को खत्म करना होगा।
धर्म निरपेक्षता इस लिए बहुत जरुरी है। जीसस इन्सान था या भगवान का बेटा ---- वो आप लोग छलफल करते रहो, और वैसे भी वो राजकाज से सम्बंधित चीज नहीं है। तो सनातनी रहो। ब्राह्मण रहो। अपना सांस्कृतिक पहचान बना के रखो। जो पढ़ना है पढ़ो। यानि कि यादव के तरह ब्राह्मण का एक standalone identity हो सकता है, सांस्कृतिक। लेकिन किसी को मंदिर जाने से वर्जित नहीं कर सकते। किसी के रामभक्ति के आड़े नहीं आ सकते। किसी दूसरे को नीचा नहीं देख सकते। प्रत्येक धर्म का प्रत्येक ग्रन्थ सारे मानव जाति का है। कोई भी कुछ भी पढ़ सकता है। दलित वेद पुराण बाइबल कुरान कुछ भी पढ़ सकता है, उसकी इच्छा। सीसा पिघलाओ और गिलास बनाओ।
हिन्दु धर्म अभी एक कोलोनाइज्ड धर्म है। कास्ट सिस्टम ख़त्म करो तो मिल गयी आजादी। १९४७: अ लव स्टोरी।
सनातनी के विरुद्ध सब के सब एक हो जाओ: यादव, हरिजन, मुसलमान, बुद्धिस्ट। बदला नहीं सधाना है, बराबरी लेना भी है और देना भी। जान और धन का सुरक्षा वो तो धर्म निरपेक्ष राज्य का काम है, वो धार्मिक टॉपिक ही नहीं। वो तो भौतिक चीज है।
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